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बी०एड० की फर्जी डिग्री के आधार नौकरी करने वाले एक और फर्जी शिक्षक ‌का पर्दाफाश

05 वर्ष का कठोर कारावास तथा 15000 रूपये के अर्थदण्ड की सजा

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रूदप्रयाग ।  जनपद में तैनात फर्जी शिक्षक त्रिलोक सिंह कठैत पुत्र भगत सिंह द्वारा अपनी बी०एड० की फर्जी डिग्री के आधार पर शिक्षा विभाग में शिक्षक की नौकरी प्राप्त की गई। शिक्षा विभाग के एस०आई०टी एवं विभागीय जॉच के अनुसार उक्त शिक्षक की बी०एड की डिग्री का सत्यापन कराया गया जिस पर चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय मेरठ से जॉच आख्या प्राप्त हुई जिसमे उक्त फर्जी शिक्षक के द्वारा विश्वविद्यालय से कोई भी बी०एड० वर्ष 1993 की डिग्री जारी नही हुई पायी गई।

शासन स्तर से एस०आई०टी जाँच भी कराई गई थी। जिसके आधार पर शिक्षा विभाग रूद्रप्रयाग द्वारा उपरोक्त शिक्षक के विरूद्ध मुकदमा पंजीकृत कराया गया। फर्जी शिक्षक को तत्काल निलम्बित कर बर्खास्त किया गया तथा माननीय सी० जे०एम० न्यायालय जनपद रुद्रप्रयाग के समक्ष विचारण हुआ।

बृहस्पतिवार को विद्वान माननीय मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट, अशोक कुमार सैनी के न्यायालय द्वारा उपरोक्त फर्जी शिक्षक त्रिलोक सिह कठैत पुत्र भगत सिंह को फर्जी बी०एड० की डिग्री के आधार पर छल व कपट से नौकरी प्राप्त करने के संबंध मे दोषी करार पाते हुए अभियुक्त त्रिलोक सिंह कठैत को धारा 420 भारतीय दण्ड संहिता, 1860 के अन्तर्गत 05 वर्ष का कठोर कारावास की सजा तथा 10000 (दस हजार रूपये) रूपये जुर्माने से दण्डित किया गया एवं जुर्माना अदा ना करने पर तीन माह का अतिरिक्त कारावास की सजा भुगतनी होगी।

तथा धारा 471 भारतीय दण्ड संहिता, 1860 के अन्तर्गत दोषसिद्ध पाते हुए 02 वर्ष का कठोर कारावास व 5000 (पाँच हजार रूपये) रूपये जुर्माने से दण्डित किया गया एवं जुर्माना अदा ना करने पर एक माह का अतिरिक्त साधारण कारावास की सजा भुगतना होगा। दोषसिद्ध शिक्षक त्रिलोक सिह कठैत को न्यायिक अभिरक्षा में लेकर दण्डादेश भुगतने हेतु जिला कारागार पुरसाड़ी, (चमोली) भेजा गया।

उक्त मामले में राज्य सरकार की ओर से प्रभावी पैरवी विद्वान अभियोजन अधिकारी श्री प्रमोद चन्द्र आर्य द्वारा की गई है।

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